गंगा को प्रदूषण मुक्त करने के लिए केंद्र और प्रदेश सरकार लागातर प्रयासरत है। गंगा को प्रदूषित करने वालों से योगी सरकार अब सख्ती से निपटने जा रही है। इसकी शुरुआत लापरवाह कंपनियों और संस्थानों से हो गई है। नमामि गंगे विभाग ने एसटीपी संचालन में लापरवाह कंपनी पर अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई करते हुए वाराणसी में 3 करोड़ रुपये का जुर्माना ठोंका है।
नमामि गंगे विभाग की टीमें प्रदेश के करीब दर्जन भर एसटीपी पर छापेमारी कर मानक और गुणवत्ता की जांच कर रही हैं।अविरल और निर्मल गंगा अभियान में तेजी लाते हुए योगी सरकार ने बड़ी कार्रवाई शुरू कर दी है. नमामि गंगे विभाग ने प्रदेश के अलग-अलग हिस्सों में निजी और सरकारी क्षेत्र के एसटीपी की कार्य क्षमता और गुणवत्ता की जांच शुरू कर दी है. कुल नौ टीमें गठित कर औचक निरीक्षण और सीवेज निस्तारण की जांच की जा रही है.
प्रमुख सचिव नमामि गंगे के निर्देश पर प्रदेश भर में चल रही जांच में पहली कार्रवाई शनिवार को वाराणसी में हुई है. वाराणसी में रमना एसटीपी को जांच के दौरान तय मानक पर नहीं पाया गया. सीवेज निस्तारण की गुणवत्ता के मामले में भी रमना एसटीपी औसत से कम पाई गई है.